राजीव गांधी प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय (आरजीपीवी) लर्निंग मैनेजमेंट सिस्टम के तहत छात्र-छात्राओं को घर पर ही पढ़ाने की तैयारी कर रहा है। कोराेना संक्रमण को लेकर छात्रों की पढ़ाई का नुकसान न हो, इसलिए इस पर विवि प्रशासन ने काम शुरू कर दिया है। तैयारी इस तरह की जा रही हैं, जिससे विवि इस सुविधा को आगे भी जारी रख सके। स्टूडेंट्स और शिक्षकों के लिए ऑनलाइन अकाउंट खोले जा रहे हैं।
इसकी शुरुआत बीई अंतिम वर्ष के छात्रों से की जा रही है। विवि ने निर्देश जारी कर दिए हैं। इसमें करीब 600 छात्र-छात्राएं है। इन छात्राें काे शुरुअात में इसलिए जाेड़ा जा रहा है ताकि इनकी परीक्षाएं आगे बढ़ानी नहीं पड़ें।
प्रभारी डॉ. एससी चौबे ने बताया कि लर्निंग मैनेजमेंट सिस्टम के एक टूल्स मॉड्यूल से छात्रों की पढ़ाई कराई जाएगी। इससे छात्रों को अलग-अलग लोकेशन पर होने के बाद भी उन्हें पढ़ाया जा सकेगा। इसके लिए छात्र और शिक्षक एंड्राॅयड मोबाइल का इस्तेमाल भी कर सकते हैं। यूआईटी में 3 हजार से अधिक छात्र अध्ययनरत हैं। हालांकि, विवि के पास अभी पूरी तैयारी नहीं है, लेकिन दावा है कि आगामी दिनों में इसे जमीनी स्तर पर उतार लिया जाएगा।
फैकल्टी से कहा... लेसन प्लान बनाकर फाइल फाॅर्मेट में पढ़ाएं
डॉ. चौबे ने बताया कि इसमें शिक्षकों से अपेक्षा की गई है कि वे फिलहाल उतने सिलेबस का लेसन प्लान तैयार करें, जितना अवकाश घोषित होने के बाद शेष रह गया है। शुरुआत में थ्योरी के रूप में उन्हें फाइल फाॅर्मेट पढ़ाया जाएगा। क्विज आयोजित किए जाएंगे। वहीं, छात्रों को इस संबंध जानकारी देने को कहा है ताकि वे इस सुविधा का उपयोग कर सकें। इसके लिए उनके अकाउंट भी खोले जा रहे हैं।
लाइव चैट कर प्राप्त कर सकेंगे जवाब..
इसमें संवाद कर सीखने के लिए अनुकूल वातावरण बनाने के लिए टेक्नोलॉजी का उपयोग किया जा रहा है। इसमें लाइव चैट और मंचों के माध्यम से साझा करना और संवाद करना, क्विज़ बनाना व देना, पुस्तक जैसी सामग्री बनाना और पॉडकास्ट और कक्षाओं के माध्यम से ई-लर्निंग कर सकेंगे।
लाइव वर्चुअल क्लास भी लगा सकेंगे
इसके सुविधा के माध्यम से छात्रों के लिए लाइव वर्चुअल क्लास भी आयोजित की जा सकेंगी। इसके लिए भी विवि तैयारी कर रहा है। हालांकि अभी कोई शेड्यूल तय नहीं है, जिससे पता चल सके कि विवि द्वारा किस विषय को किस समय पढ़ाया जाएगा।
परीक्षाओं पर असर न पड़े इसलिए कवायद
छात्रों के लिए यह सुविधा कब से शुरू होगी। इसकी कोई टाइम लाइन नहीं बताई है। लेकिन, कुलपति प्रो. सुनील कुमार ने सभी फैकल्टी से सहयोग की अपेक्षा की है। अकादमिक गतिविधि निलंबित किए जाने से छात्रों का सिलेबस पूरा नहीं हो सकेगा। इसका असर सेमेस्टर परीक्षा पर पड़ेगा।